तेहरान (IQNA) बहत्तर राष्ट्रों वाले भारत में हुसैन इब्न अली (अ.स.) के शोक में शिया समुदाय के लोगों की तरह अन्य धर्मों के लोगों की भागीदारी कम ही होती है। इन समारोहों के लिए आर्थिक योगदान का एक हिस्सा हिंदू, ब्राह्मण और बौद्ध धर्मावलंबियों द्वारा दिया जाता है। भारतीय जनता का अपेक्षाकृत अधिक ध्यान आकर्षित करने वाले अनुष्ठानों में से एक है इमाम हुसैन (अ.स.) के शिशु शिशु की स्मृति में "ग़हवारे में बैठाने" की रस्म है।
17:00 , 2025 Jul 13