निम्नलिखित में, आप सूरह निसा से प्रसिद्ध मिस्र के क़ारी मुस्तफा इस्माइल के स्थायी पाठ का एक हिस्सा सुनेंगे।
﴾وَالْآخِرَةُ خَيْرٌ لِمَنِ اتَّقَى وَلَا تُظْلَمُونَ فَتِيلًا ﴿77
और जिसने परहेज़गारी की, उसके लिए आख़िरत बेहतर है, और तुम पर खजूर के धागे के बराबर भी ज़ुल्म नही किया जाएगा।78.
﴾ أَيْنَمَا تَكُونُوا يُدْرِكْكُمُ الْمَوْتُ وَلَوْ كُنْتُمْ فِي بُرُوجٍ مُشَيَّدَةٍ ... ﴿78
आप जहां भी हों, मौत आपको ढूंढ ही लेगी, भले ही आप मजबूत मीनारों में हों
सूरह निसा
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