भारत में मुस्लिम विरोधी अपराधों पर एमनेस्टी इंटरनेशनल की जोरदार निंदा
अंतर्राष्ट्रीय कुरान समाचार ऐजेंसी(IQNA) खबर «thenews» के अनुसार, एमनेस्टी इंटरनेशनल के कार्यालय ने कहाः भारतीय अधिकारियों को सुनिश्चित करना चाहिए कि मुसलमानों के खिलाफ नफ़रत से पैदा अपराधों को अंजाम देने वालों और विभिन्न राज्यों में सार्वजनिक स्थानों पर उनकी हत्या करने वालों को साज़ा से उन्मुक्ति नहीं किया जाऐगा।
इस संगठन के कार्यालय के अनुसार, अप्रैल 2017 तक, भारत भर में इस्लामोफोबिया में वृद्धि के अलावा 10 मुसलमानों की हत्यी की गई या अवैध रूप से मौत की सजा दी गई है।
"अकार पटेल" एमनेस्टी इंटरनेशनल इंडिया कार्यालय के निदेशक ने कहाः मुसलमानों के खिलाफ घृणा से पैदा अपराध के पैटर्न सज़ा देने के रूप में और बिना गहरी कानूनी प्रक्रिया के हत्या करना चिंता का सबब है और उन राज्यों में जहां पार्टी "भारतीय जनता '(भारत की नेशनलिस्ट पार्टी है वहाँ जातिवाद और विशेष रूप से इस्लामी विरोधी प्रवृत्तियां मौजूद हैं,) सत्ता में है यह काम अधिक हो रहा है।
उन्होंने कहाःकि भारत में इस्लामोफोबिया की बढ़ती प्रवृत्ति को रोका जाना चाहिए और भारत के प्रधान मंत्री, भाजपा के वरिष्ठ नेताओं और मंत्रियों को चुप्पी तोड़ना चाहिऐ और मुसलमानों के खिलाफ हमलों की निंदा करें।
पटेल ने मुसलमानों के खिलाफ नफरत से जनमें अपराधों की ओर इशारा करते हुऐ कहाः मुसलमानों के खिलाफ़ भीड़ हिंसा में गाय के अवैध व्यापार के बहाने मुसलमानों के घरों पर हमले, राज्य "झारखंड" में मुस्लिम बच्चों को हत्या और मुस्लिम पुलिस अधिकारी की कश्मीर मस्जिद में हत्या व ट्रायल जैसे अपराध शामिल हैं।
उल्लेखनीय है, हाल के वर्षों में, दर्जनों मुसलमानों ने अतिवादी हिंदूओं के हमलों में अपनी जान दी है जिनमें ईद अल-फितर से से पहले दिल्ली हरियाना ट्रेन में गाय के गोश्त ले जाने के आरोप में, "जुनैद" नाम के मुस्लिम युवा की हाल ही में हत्या और तीन अन्य लोगों को घायल करना शामिल है।